Rohtak के लोग अब आयुष्मान कार्ड(Ayushman card) योजना के तहत निजी अस्पतालों में इलाज नहीं(No treatment in private hospitals) करा पाएंगे। इंडियन मेडिकल एसोसिएशन(IMA) ने यह निर्णय लिया है कि वे आयुष्मान कार्ड के मरीजों का इलाज नहीं करेंगे। इसका कारण यह है कि आयुष्मान योजना के तहत इलाज के बिलों का भुगतान पिछले 8-10 महीने से नहीं हुआ है।
आईएमए(IMA) के जिला अध्यक्ष डॉ. रविंद्र हुड्डा ने बताया कि आयुष्मान योजना 2017 से चल रही है और यह लोगों के लिए एक अच्छी योजना है। लेकिन पिछले एक साल से इसमें भुगतान की समस्या आ रही है। उन्होंने बताया कि आयुष्मान योजना के तहत निजी अस्पतालों में इलाज के लिए जो पैकेज दरें तय की गई हैं, वे बहुत कम हैं और ऊपर से भुगतान भी समय पर नहीं हो रहा है। डॉ. हुड्डा ने कहा कि हरियाणा में आयुष्मान योजना के तहत करीब 300 करोड़ रुपये बकाया हैं, जबकि रोहतक में यह राशि 15-20 करोड़ रुपये है। इस वजह से 1 जुलाई से आयुष्मान कार्ड से इलाज पर रोक लगा दी गई है।

उन्होंने यह भी बताया कि अगर अस्पतालों को भुगतान नहीं किया जाएगा तो वे अस्पताल कैसे चलाएंगे। अस्पताल चलाने के लिए जरूरी खर्च जैसे स्टाफ का वेतन, बिजली-पानी का बिल आदि कहां से वहन करेंगे। इस बारे में आईएमए के अधिकारियों से बात हो चुकी है और आश्वासन भी मिले हैं, लेकिन इसका पूरी तरह समाधान नहीं हो पाया है।
राशि पर दिया जाएगा 1 प्रतिशत ब्याज
डॉ. हुड्डा ने कहा कि सरकार ने एमओयू किया था कि अगर भुगतान में 15 दिन से ज्यादा की देरी होती है तो राशि पर एक प्रतिशत ब्याज भी दिया जाएगा, लेकिन अब भुगतान नहीं हो रहा है। रोहतक में करीब 35 निजी अस्पताल आयुष्मान कार्ड योजना से जुड़े हैं और इन अस्पतालों में रोजाना 20-30 मरीज आते हैं। इन सभी अस्पतालों पर करीब 15-20 करोड़ रुपये बकाया हैं। अब यह तय हो गया है कि अब निजी अस्पताल आयुष्मान कार्ड धारकों का इलाज नहीं करेंगे। सरकार ने कई आश्वासन दिए हैं, इसलिए 5 दिन का समय दिया गया है। इसके बाद आईएमए फिर बैठक करेगी और देखेगी कि उनकी कितनी मांगें पूरी हुई हैं। उसके आधार पर आगे का फैसला लिया जाएगा।