मधुमक्खियों ने रोक दी Indigo की फ्लाइट पढ़ें पूरी खबर9

हरियाणा में UPS लागू: 1 अगस्त से सरकारी कर्मचारियों को मिलेगा नया पेंशन विकल्प, जानें 7 बड़े बदलाव

हरियाणा

हरियाणा सरकार ने UPS (एकीकृत पेंशन योजना) को लागू किया, NPS अब एक विकल्प
1 अगस्त 2025 से सरकारी विभागों के कर्मचारी चुन सकेंगे UPS
पेंशन, पारिवारिक पेंशन और न्यूनतम पेंशन की गारंटी के साथ बढ़ेगा सरकारी योगदान


हरियाणा सरकार ने केंद्र की तर्ज पर अपने सरकारी विभागों में ‘एकीकृत पेंशन योजना’ (Unified Pension Scheme – UPS) लागू करने का बड़ा फैसला लिया है। यह फैसला हालिया कैबिनेट बैठक में लिया गया और इसका नोटिफिकेशन वित्त विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव अनुराग रस्तोगी द्वारा जारी किया गया। इस नई योजना के अंतर्गत राज्य के सरकारी विभागों में कार्यरत कर्मचारी 1 अगस्त 2025 से UPS का विकल्प चुन सकेंगे, जबकि राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली (NPS) को भी विकल्प के रूप में बनाए रखा गया है।

हालांकि UPS फिलहाल केवल विभागीय कर्मचारियों पर लागू होगी। बोर्ड-निगमों, विश्वविद्यालयों और सार्वजनिक उपक्रमों के कर्मचारियों को अभी इंतजार करना होगा। इस योजना को लेकर विपक्ष सवाल उठा रहा है, लेकिन सरकार इसे कर्मचारियों के हित में ऐतिहासिक और संरक्षित भविष्य का मार्ग मान रही है।

Whatsapp Channel Join

नोटिफिकेशन के मुताबिक, UPS के अंतर्गत निश्चित पेंशन, पारिवारिक पेंशन और न्यूनतम पेंशन की गारंटी दी जाएगी। योजना से जुड़े मुख्य प्रावधान इस प्रकार हैं:

1. रिटायरमेंट के एक साल पहले औसत वेतन की 50% राशि पेंशन में:
25 वर्ष की सेवा पूरी करने के बाद रिटायर हो रहे कर्मचारी को पिछले 12 महीनों के औसत मूल वेतन की 50% राशि पेंशन के रूप में मिलेगी। यदि सेवा 10 वर्ष से अधिक है, तो न्यूनतम 10,000 रुपये मासिक पेंशन की गारंटी होगी।

2. परिवार को 60% पारिवारिक पेंशन:
पेंशनर की मृत्यु की स्थिति में परिवार को अंतिम पेंशन की 60% राशि पारिवारिक पेंशन के रूप में मिलेगी, जिसमें महंगाई राहत भी लागू होगी।

3. एकमुश्त भुगतान की सुविधा:
रिटायरमेंट के समय एकमुश्त भुगतान की अनुमति होगी, जो सेवा के प्रत्येक 6 माह पर मासिक परिलब्धियों का 10% होगा, जो पेंशन को प्रभावित नहीं करेगा।

4. दो निधियों का मॉडल:
UPS में दो कोष होंगे—एक कर्मचारी की व्यक्तिगत निधि और दूसरा पूल कार्पस फंड, जिसमें सरकार अतिरिक्त योगदान देगी।

5. सरकार का बढ़ा हुआ योगदान:
कर्मचारी अपने मूल वेतन और DA का 10% योगदान करेंगे और सरकार उतना ही देगी। इसके अलावा सरकार औसतन 8.5% अतिरिक्त पूल कोष में भी देगी। कुल सरकारी अंशदान 18.5% होगा।

6. निवेश का विकल्प भी मिलेगा:
कर्मचारी अपनी निधि का निवेश विकल्प चुन सकते हैं। जो नहीं चुनेंगे, उनके लिए PFRDA का डिफॉल्ट निवेश पैटर्न लागू होगा। पूल कार्पस का निवेश सरकार तय करेगी।

7. समर्पित पेंशन 15 साल बाद बहाल होगी:
हरियाणा सिविल सेवा (पेंशन) नियम-2016 के संशोधन के तहत रिटायरमेंट के 15 साल बाद समर्पित पेंशन राशि फिर से बहाल कर दी जाएगी।