Haryana पुलिस में हर अधिकारी और कर्मचारी की कार्यक्षमता बढ़ाने और उनके काम के मापदंड को निर्धारित करने के लिए एक नया आकलन प्रपत्र तैयार किया गया है। इस प्रपत्र के सकारात्मक परिणाम सामने आने लगे हैं। पुलिस महानिदेशक शत्रुजीत कपूर के नेतृत्व में इस आकलन प्रपत्र के आधार पर हर पुलिसकर्मी का रिपोर्ट कार्ड तैयार किया गया है। इससे अच्छे काम करने वाले पुलिसकर्मियों का मनोबल बढ़ रहा है और बाकी पुलिसकर्मी भी अच्छा काम करने के लिए प्रेरित हो रहे हैं।
इस प्रक्रिया के तहत, पुलिस महानिदेशक शत्रुजीत कपूर ने नारनौल पुलिस जिला का दौरा किया और वहां वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों की उपस्थिति में उप पुलिस अधीक्षकों, निरीक्षकों और प्रबंधक अफसरों की परफॉर्मेंस को लेकर ग्रेडिंग की।शत्रुजीत कपूर ने 14 जिलों का दौरा करते हुए पुलिस अधिकारियों की परफॉर्मेंस का रिव्यू किया है। इसके अतिरिक्त, पुलिस महानिदेशक संजय कुमार ने 9 जिलों (डबवाली पुलिस जिला मिलाकर) का दौरा किया और रोहतक रेंज के अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक के.के. राव ने चरखी दादरी जिले का दौरा किया।
लगभग 9 महीने पहले पुलिस महानिदेशक शत्रुजीत कपूर ने पुलिस विभाग में कार्यरत अधिकारियों और कर्मचारियों के कार्यों के आकलन के लिए आकलन प्रपत्र (एसेसमेंट प्रोफॉर्मा) तैयार कर उन्हें वितरित किया था।
हर अधिकारी और कर्मचारी की जवाबदेही तय
हरियाणा पुलिस की विभिन्न यूनिट जैसे- सीआईए, क्राइम यूनिट, साइबर यूनिट, अनुसंधान अधिकारी, महिला पुलिस थाने, एसएचओ आदि के कार्यों को परिभाषित करते हुए मुख्य निष्पादन संकेतक (की परफॉर्मेंस इंडिकेटर) तैयार किए गए हैं। इस आकलन प्रपत्र के माध्यम से हर अधिकारी और कर्मचारी की जवाबदेही तय की गई है और उन्हें अलग से अंक दिए जाते हैं ताकि पुलिस की कार्य प्रणाली को और बेहतर बनाया जा सके।
नेगेटिव मार्किंग का भी प्रावधान
शत्रुजीत कपूर ने बताया कि आकलन प्रपत्र को तैयार करते समय हर अधिकारी और कर्मचारी के उत्तरदायित्वों का बारीकी से अध्ययन किया गया है और इन्हें बिंदुवार परिभाषित किया गया है। प्रत्येक पुलिस अधिकारी और कर्मचारी इस प्रपत्र में वर्णित बिंदुओं के अनुसार काम करते हुए खुद को नंबर देते हैं। जो पुलिसकर्मी निर्धारित मापदंडों के अनुसार कार्य नहीं करते, उनके लिए आकलन प्रपत्र में नेगेटिव मार्किंग का भी प्रावधान किया गया है।