Hisar is lower than many hilly areas including Shimla

Shimla सहित कई पहाड़ी क्षेत्रों से कम हिसार का रात्रि तापमान, सामान्य से 4 डिग्री पहुंचा नीचे

बड़ी ख़बर हरियाणा हिसार

हिसार में कुछ दिनों से मौसम में लगातार बदलाव हो रहा है। सर्द हवा चलने से तापमान में गिरावट बनी हुई है । रात्रि तापमान सामान्य से 4 डिग्री सैल्सियस कम है, जो 4.2 डिग्री सैल्सियस दर्ज किया गया। यह तापमान इस सर्द मौसम का सबसे कम तापमान है। यह तापमान शिमला सहित कई पहाड़ी क्षेत्रों से कम है।

वहीं राजस्थान के साथ सटे बालसमंद का रात्रि तापमान 4.3 डिग्री सेल्सियस रहा। यह तापमान भी सामान्य से कम है। मौसम विभाग ने हिसार में अगले तीन दिनों के दौरान कोहरे को लेकर संभावना जताई है। भारतीय मौसम विभाग द्वारा दर्ज आंकड़ों के अनुसार हिसार, बालसमंद का रात्रि तापमान पहाड़ी क्षेत्रों कांगडा (5.8), शिमला (6.8 ), धर्मशाला (8.2) व जम्मू कश्मीर (7.3) से कम है। हिसार में सर्द हवाओं के कारण रात्रि के समय ठंड का प्रकोप बढ़ गया है। तापमान में गिरावट के कारण ठिठुरन से बचने के लिए अलाव का सहारा ले रहे हैं । मौसम विभाग ने अगले तीन-चार दिन तापमान में गिरावट की संभावना जताई है।

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चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय के मौसम विभाग के अध्यक्ष डॉ. मदन लाल खिचड़ ने बताया कि उत्तरी पर्वतीय एक के बाद एक कमजोर पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय हो रहे हैं। जिसकी वजह से मौसम में बदलाव और तापमान में उतार चढ़ाव
देखने को मिल रहा है। बार-बार एक के बाद एक कमजोर पश्चिमी विक्षोभ आने से और उनके मध्य कम अंतराल होने की वजह से मौसम में बदलाव तापमान में उतार चढ़ाव ही देखने को मिल रहा है, क्योंकि बार-बार हवाओं की दिशा बदल जाती है। जब पश्चिमी विक्षोभ आते हैं, उस समय हवाएं पश्चिमी दक्षिणी और पूर्वी दक्षिणी होने से तापमान में वृद्धि और जब ये आगे निकल जाते हैं तो हवाओं की दिशा बदल कर उत्तरी हो जाती है, जिसकी वजह से तापमान में गिरावट देखने को मिलती है।

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The Christ Church In Shimla After Snowfall

उत्तरी पर्वतीय क्षेत्रों में होगी बर्फबारी

मौसम विशेषज्ञ के अनुसार वर्तमान परिदृश्य में एक कमजोर पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय होने से आंशिक बादल बाही देखने को मिल रही है। वर्तमान पश्चिमी विक्षोभ शनिवार को सम्पूर्ण इलाके से आगे निकल जाएगा उसके पीछे पीछे एक और कमजोर पश्चिमी विक्षोभ 17 दिसंबर को उत्तरी पर्वतीय क्षेत्रों पर सक्रिय हो जाएगा, जिससे आने वाले दिनों में आंशिक बादलवाही देखने को मिलेगी और उत्तरी पर्वतीय क्षेत्रों में बर्फबारी होगी जैसे ही मौसम प्रणाली आगे निकल जाएगी। हवाओं की दिशा में बदलाव होने से तापमान में गिरावट दर्ज होगी।