अक्सर चुनाव के दौरान ईवीएम में गड़बड़ी, ईवीएम को हैक किए जाने के आरोप लगते रहे हैं। इन आरोपों में कितनी सच्चाई है, क्या ईवीएम को हैक किया जा सकता है। इसी तरह के और सवालों के जवाब मिल रहे हैं ईवीएम मशीन पर स्वयं सब कुछ देखकर। देश-प्रदेश में चुनाव आयोग ने ईवीएम की भ्रांतियां दूर करने के लिए विशेष अभियान चलाया है।
यमुनानगर जिला सचिवालय में एक बूथ स्थापित किया गया है। जिसमें बेल्ट यूनिट, कंट्रोल यूनिट और वीवीपेट यूनिट लगाया गया है। जिसके माध्यम से कोई भी व्यक्ति, कोई भी संस्था का प्रतिनिधि, राजनीतिक दल का प्रतिनिधि आकर खुद पूरी कार्य प्रणाली को जांच सकता है। यहां काफी लोग आ रहे हैं। स्वयं ईवीएम का बटन दबाते हैं, उसके बाद वीवीपेट पर पता लगता है कि जहां बटन दबाया क्या वही मतदान हुआ है। लोगों ने ईवीएम में मतदान के बाद अपना अनुभव सांझा किया।
ईवीएम की कार्यप्रणाली के बारे में बताने और लोगों को मशीन के बारे में जानकारी देने के लिए आईटीआई के इंस्पेक्टर मनोज कुमार मौजूद है। जिन्होंने बताया कि नए मतदाताओं को जागरूक करने व पहली बार मतदान करने वाले लोगों को उसमें कोई दिक्कत ना आए उसको लेकर और लोगों की भ्रांतियां को दूर करने के लिए यह बूथ स्थापित किया गया है। वही यमुनानगर के उपायुक्त कैप्टन मनोज कुमार ने बताया कि कई बार आवाज आती हैं कि ईवीएम को मेनूप्लेट किया जा सकता है, उसमें छेड़छाड़ की जा सकती है। इन्हीं भ्रांतियां को दूर करने के लिए यमुनानगर जिला सचिवालय में विशेष बूथ बनाया गया है। जिसमें बैलट यूनिट, कंट्रोल यूनिट व वीवी पेट मशीन स्थापित की गई है। उन्होंने सभी राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों का आह्वान किया कि वे आकर ईवीएम में चेक करें ।