पितृ दोष एक ऐसी गहन संस्कृति संबंधित विशेषता है, जो धार्मिक मान्यताओं और ज्योतिष शास्त्र के अनुसार मानी जाती है। यह दोष किसी व्यक्ति के पूर्वजों के पितृओं के साथ किए गए किसी कर्म या अवस्था का परिणाम माना जाता है, जो व्यक्ति को कई संकटों और परेशानियों का सामना करने के लिए उत्सर्गित करता है। इस दोष को दूर करने के लिए कई उपायों का पालन किया जा सकता है।
बता दें कि पितृ दोष के लक्षणों में यह समाविष्ट हो सकता है कि व्यक्ति को जीवन में कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। उनके विवाह में अड़चनें आ सकती हैं और उन्हें अनेक आर्थिक और सामाजिक संकटों का सामना करना पड़ सकता है। इसके अलावा पितृ दोष के लिए ज्यादातर उपाय धार्मिक और सांस्कृतिक प्रथाओं पर आधारित होते हैं। वहीं कुछ उपायों के माध्यम से पितृ दोष को दूर किया जा सकता है।

पितृओं को संतुष्ट करने पर मिलती है कृपा
मृत व्यक्ति की मृत्यु की तिथि पर जरूरतमंदों और ब्राह्मणों को भोजन कराकर उन्हें क्षमता के अनुसार दक्षिणा देना चाहिए। यह श्राद्ध कर्म उन्हें शांति देते हैं और पितृ दोष को शांति मिलती है। पीपल के पेड़ को दोपहर में जल का अर्घ्य देना चाहिए। इसके साथ ही पुष्प, अक्षत, दूध, गंगाजल और काले तिल भी अर्पित किया जा सकता है। यह पितृओं को सन्तुष्ट करता है और उनकी कृपा मिलती है।

दक्षिण दिशा में मुख कर पितृओं को करें प्रणाम
जल में काले तिल मिलाकर दक्षिण दिशा में अर्घ्य देना चाहिए। यह उपाय भी पितृओं को संतुष्ट करता है और उनकी कृपा मिलती है। रोजाना सुबह में उठने के बाद दक्षिण दिशा में मुख कर पितृओं को प्रणाम करना चाहिए। यह एक परंपरागत उपाय है जो पितृओं को संतुष्ट करता है। पितृ दोष को दूर करने के लिए आर्थिक रूप से कमजोर लोगों की मदद करना चाहिए। यह उन्हें संतुष्टि और शांति देता है और पितृओं की कृपा को प्राप्त करने में मदद करता है।

पितृ स्तोत्र व नवग्रह का पाठ
शाम के वक्त दीपक जलाकर नाग स्तोत्र, महामृत्युंजय मंत्र, रुद्र सूक्त, पितृ स्तोत्र और नवग्रह का पाठ किया जा सकता है। ये उपाय पितृओं को संतुष्ट करते हैं और पितृ दोष को दूर करते हैं। सोमवार की सुबह स्नान करके शिव मंदिर में जाकर, आक के 21 फूल, दही, बिल्वपत्र के साथ शिवजी की पूजा की जा सकती है। यह भी पितृओं को संतुष्ट करता है और पितृ दोष को दूर करता है।

घी में डुबोकर जलाएं कपूर
पितृ दोष से मुक्ति पाने के लिए किसी गरीब कन्या के विवाह में मदद की जा सकती है। यह एक दानशील उपाय है जो पितृओं की कृपा को प्राप्त करने में मदद करता है। गाय का दान करने से पितृ दोष से राहत मिलती है। यह एक धार्मिक उपाय है जो पितृओं को संतुष्ट करता है और पितृ दोष को दूर करता है। घी में डुबोकर कपूर जलाने से पितृदोष का शमन होता है। प्रतिदिन सुबह और शाम घर में शाम के समय कपूर जलाया जा सकता है। यह उपाय भी पितृओं को संतुष्ट करता है और पितृ दोष को दूर करता है।

ये उपाय धार्मिक व सांस्कृतिक परम्पराओं पर आधारित
इन उपायों को अपनाकर व्यक्ति पितृ दोष से मुक्ति प्राप्त कर सकता है और अपने जीवन में समृद्धि और शांति की प्राप्ति कर सकता है। यह उपाय धार्मिक और सांस्कृतिक परंपराओं पर आधारित हैं और विश्वास किया जाता है कि इनका पालन करने से पितृओं की कृपा मिलती है और व्यक्ति को उनकी आशीर्वाद मिलता है।

