Farmers again upset in Sirsa

Sirsa में फिर बिफरें किसान, cotton वाले किसानों को बर्बाद होने का खतरा, बैठक कर Delhi कूच का किया आह्वान

बड़ी ख़बर सिरसा हरियाणा

सिरसा जिले के खंड डबवाली में संयुक्त किसान मोर्चा ने गैर-राजनीतिक मंच पर किसानों और मजदूरों को 13 फरवरी को दिल्ली कूच के लिए एकता बनाने का आह्वान किया है। साथ ही डबवाली अनाज मंडी में किसानों की मीटिंग हुई। जिसमें सभी को अपनी ड्यूटियां लगाने का निर्णय लिया गया है।

डबवाली के किसानों ने एसकेएम के माध्यम से उच्च न्यायालय, आईटी कमिशन, प्रवर्तन निदेशालय और हरियाणा के डीजीपी को शिकायत भेजी है, जो झूठे केसों के खिलाफ हैं। मीटिंग में डबवाली के किसानों ने भ्रष्टाचार के खिलाफ खुलकर आवाज उठाई और जमीनी असमानता के खिलाफ मुकाबला करने का आह्वान किया। साथ ही उन्होंने युवा किसान नवरीत सिंह और लखीमपुर खीरी हत्या मामले में शहीद हुए किसानों की याद में 26 जनवरी को कैंडल मार्च का आयोजन करने का निर्णय लिया। इस मौके पर डबवाली के किसानों ने अपनी मुख्य मांगें प्रस्तुत की हैं। सबसे मुख्य मांग यह है कि स्वामीनाथन आयोग के सी-2 प्लस फॉर्मूले के अनुसार किसानों की फसलों की एमएसपी पर खरीद की गारंटी का कानून बनाया जाए।

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फसल बीमा योजना में सुधार की मांग

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किसानों ने देशभर में सभी किसानों और मजदूरों के सभी कर्जों का माफी की मांग की है। वे नरमे की फसल को बचाने के लिए नरमे के बीज में सुधार की मांग कर रहे हैं, नहीं तो कॉटन वाले किसानों को बर्बाद होने का खतरा है। प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना में सुधार की भी मांग है और बीमा प्रीमियम को स्थानीय सरकारों को स्वयं अदा करने की मांग की गई है। मीटिंग में डबवाली के किसानों ने अपने झूठे केसों के खिलाफ भी सख्ती से आवाज उठाई है और एसडीएम के माध्यम से उच्च न्यायालय, आईटी कमिशन, प्रवर्तन निदेशालय और हरियाणा के डीजीपी को इसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने का आग्रह किया है।

बकाया मुआवजा तत्काल खातों में करें जमा

अन्त में डबवाली के किसानों ने लखीमपुर खीरी हत्या मामले में आरोपी गृह राज्यमंत्री अजय मिश्रा टेनी और उसके बेटे को गिरफ्तार करने, घायल किसानों को मुआवजा देने, बिजली संशोधन बिल को वापस लेने, मुक्त व्यापार समझौतों पर रोक लगाने, और खरीफ-2020 का बकाया मुआवजा तत्काल किसानों के खातों में जमा करने की मांगें की हैं। इससे साफ है कि डबवाली के किसान अपने अधिकारों की सुरक्षा और सरकार से अपनी मांगें पूरी करने के लिए सख्ती से उत्तरदाता बने हुए हैं।