Hisar एयरपोर्ट पर 4 फरवरी से 7 फरवरी तक भारतीय वायुसेना की विशेष ट्रेनिंग का कार्यक्रम शुरू होने जा रहा है। वायुसेना के जेट विमानों का संचालन यहां पहली बार होगा, और इस ऐतिहासिक मौके पर करीब 18 पायलट हिसार पहुंचेंगे। यह ट्रेनिंग कार्यक्रम सिरसा एयरफोर्स स्टेशन के ग्रुप कैप्टन रितम कुमार की अगुवाई में होगा।
करीब 18 पायलट इस विशेष ऑपरेशन का हिस्सा बनेंगे और एयरफोर्स की इस कवायद को लेकर स्थानीय प्रशासन को पहले ही सूचित कर दिया गया है। खबरें हैं कि प्रशासन और वायुसेना के वरिष्ठ अधिकारियों के बीच एक महत्वपूर्ण बैठक भी होगी, जिसमें इस ऑपरेशन की बारीकियों पर चर्चा होगी।
क्या हिसार एयरपोर्ट बनेगा सेना का नया गढ़?
इस पूरे घटनाक्रम को लेकर कई अटकलें लगाई जा रही हैं। कुछ प्रशासनिक सूत्रों के मुताबिक, हिसार एयरपोर्ट को भविष्य में सेना के इमरजेंसी बेस के तौर पर इस्तेमाल किया जा सकता है। पहले भी भारतीय वायुसेना एक्सप्रेस-वे पर जेट विमान उतार चुकी है, और अब हिसार एयरपोर्ट को लेकर यह परीक्षण संकेत दे रहा है कि इसे अंबाला और सिरसा एयरबेस के बैकअप के रूप में तैयार किया जा रहा है।
हिसार एयरपोर्ट से कब शुरू होंगी उड़ानें?
हालांकि, हिसार एयरपोर्ट से अभी तक नागरिक उड़ानों की शुरुआत नहीं हुई है। इसे लेकर हरियाणा सरकार DGCA (नागरिक उड्डयन महानिदेशालय) से लाइसेंस लेने की प्रक्रिया में जुटी हुई है। खबरों के मुताबिक, 22 फरवरी तक एयरपोर्ट को लाइसेंस मिलने की उम्मीद जताई जा रही है।
एयरपोर्ट का कंट्रोल किसके हाथ में होगा?
इस एयरपोर्ट को केंद्र सरकार के अधीन एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया (AAI) द्वारा संचालित किया जाएगा। इससे जुड़े इन्फ्रास्ट्रक्चर, ऑपरेशन और मेंटिनेंस समेत नियुक्तियों पर केंद्र का नियंत्रण होगा। हरियाणा सरकार के पास केवल जमीन का मालिकाना हक रहेगा, लेकिन सुरक्षा का जिम्मा CISF (केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल) को सौंपा जाएगा।