जींद में अदालत ने एनडीपीएस एक्ट के तहत एक मामले में दो लोगों को सजा सुनाई है। एडीजे नेहा नौरिया की अदालत ने उन्हें बाप-बेटे के रूप में पहचानते हुए उन्हें 10-10 साल की कैद और एक-एक लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया है। अगर वे जुर्माना नहीं देते हैं, तो उन्हें और दो साल की कैद करनी पड़ेगी।
मामले के अनुसार सीआइए स्टाफ को यह जानकारी मिली थी कि रामनगर रोहतक रोड पर मनीष और उसके पिता स्वरूप नशे की वस्तुओं का व्यापार कर रहे थे। वे गोहाना की ओर बाइक पर नशे की खेप लेकर जा रहे थे। इस पर सीआइए स्टाफ ने गांव पांडू पिंडारा के पास नाकेबंदी लगाई, ताकि वाहनों की जांच की जा सके। जब वे निकट आए तो पुलिस ने उन्हें रोका और उनकी बाइक में से दो किलो 40 ग्राम चरस बरामद की। पुलिस ने उनसे पूछताछ की और उन्हें रामनगर के निवासी मनीष और उसके पिता स्वरूप के रूप में पहचान हुई।
सिविल लाइन थाना पुलिस ने उन दोनों के खिलाफ नशे की वस्तुओं के बारे में मामला दर्ज किया और उन्हें गिरफ्तार कर लिया था। इसके बाद मामला अदालत में पहुंचा। जहां अदालत ने मनीष और उसके पिता रामस्वरूप को नशे की वस्तुओं की तस्करी के जुर्म में दस-दस साल की कैद और एक-एक लाख रुपए का जुर्माना सुनाया है।