- नोएडा के मानव रचना इंटरनेशनल स्कूल में बच्ची और उसके अभिभावकों के मानसिक उत्पीड़न का मामला सामने आया, शिक्षिका ने बच्ची के परिजनों को थप्पड़ मारने की धमकी दी।
- शिक्षा विभाग ने प्रकरण की जांच के आदेश दिए और 24 घंटे में रिपोर्ट तलब की है, स्कूल प्रबंधन पर लापरवाही का आरोप।
- शिक्षा मंत्री संदीप सिंह और पूर्व उपमुख्यमंत्री दिनेश शर्मा ने मामले को गंभीर व अमानवीय बताते हुए उच्चस्तरीय जांच की मांग की।
Child trauma in private school: नोएडा के सेक्टर-52 स्थित मानव रचना इंटरनेशनल स्कूल से एक चौंकाने वाली घटना सामने आई है, जिसमें कक्षा 2 की एक छात्रा और उसके अभिभावकों के मानसिक उत्पीड़न का आरोप स्कूल की शिक्षिका पर लगा है। बताया जा रहा है कि छात्रा की एक सामान्य गलती पर शिक्षिका ने न केवल कक्षा में उसके साथ अभद्र व्यवहार किया, बल्कि उसके अभिभावकों के बारे में भी अशोभनीय टिप्पणियां कीं।
शिक्षिका ने इतना ही नहीं, देर शाम छात्रा की मां को फोन कर धमकी दी कि बच्ची की गलती दोहराने पर उन्हें भी थप्पड़ मारा जाएगा। इस घटना के बाद छात्रा बुरी तरह डर गई और अगले दिन स्कूल जाने से साफ मना कर दिया। जब अभिभावकों ने बच्ची से कारण पूछा तो उसने सारी घटना का विवरण दिया, जिससे माता-पिता स्तब्ध रह गए।
अभिभावकों ने जब यह शिकायत स्कूल प्रबंधन से की तो कोई गंभीर प्रतिक्रिया नहीं मिली, जिसके बाद उन्होंने जिला विद्यालय निरीक्षक और शिक्षा विभाग को इसकी जानकारी दी। शिक्षा विभाग ने तत्परता दिखाते हुए 24 घंटे में रिपोर्ट तलब की है और दोषी स्टाफ पर दंडात्मक कार्रवाई के निर्देश दिए हैं।
राज्य के शिक्षा मंत्री संदीप सिंह ने इस घटना को “गंभीर और अमानवीय” करार दिया है, वहीं पूर्व उपमुख्यमंत्री डॉ. दिनेश शर्मा ने भी इस प्रकरण की उच्चस्तरीय जांच की मांग करते हुए कहा कि स्कूलों को अनुशासन के नाम पर छात्रों और अभिभावकों पर मानसिक दबाव बनाने का अधिकार नहीं है।
जिला विद्यालय निरीक्षक धर्मवीर सिंह ने स्पष्ट कहा कि इस तरह की घटनाएं अस्वीकार्य हैं और जांच के बाद दोषियों पर कठोर कार्रवाई होगी। शिक्षा विभाग का यह सख्त रुख दिखाता है कि अब स्कूलों में छात्रहित को लेकर लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।