हरियाणा उच्च शिक्षा विभाग के मंत्री मूलचंद शर्मा की ओर से हाल ही में राज्य के सभी 182 राजकीय महाविद्यालयों के प्राचार्यों को पारदर्शिता सुनिश्चित करने और गलतफहमी की संभावना को कम करने के निर्देश जारी किए हैं।
विभागीय सूत्रों के अनुसार हरियाणा के उच्च शिक्षा विभाग ने कॉलेज प्राचार्यों को बड़ा झटका दिया है। अब सभी राजकीय महाविद्यालयों के प्राचार्यों को अब छुट्टी पर जाने से पहले वरिष्ठ शिक्षक के अलावा किसी अन्य को महाविद्यालय का प्रभार सौंपने पर स्पीकिंग ऑर्डर पारित करना होगा। साथ ही मामले को उच्चाधिकारियों के संज्ञान में लाने के लिए उन्हें मुख्यालय को भी सूचित करना होगा।
उच्च शिक्षा विभाग की ओर से प्राचार्यों के लिए जारी ऑर्डर में लिखा गया है कि आप अपनी छुट्टी के दौरान वरिष्ठ शिक्षक (सीनियर लेक्चरर) को महाविद्यालय का प्रभार सौंपेंगे। महाविद्यालय के प्राचार्यों को भेजे गए ऑर्डर में ये कहा गया है कि यदि आप वरिष्ठ शिक्षक के खिलाफ लंबित किसी शिकायत या जांच के बाद किसी अन्य शिक्षक को कार्यभार सौंपते हैं तो आपको इस संबंध में एक मौखिक आदेश पारित करना होगा।
डीएचई के एक अधिकारी का कहना है कि स्पिकिंग ऑर्डर के तहत संबंधित प्राचार्य को यह कारण भी बताना होगा कि वरिष्ठ शिक्षक के अलावा किसी अन्य शिक्षक को कार्यभार क्यों दिया जा रहा है। अधिकारी का कहना है कि पहले प्राचार्य बिना कोई कारण बताए सिर्फ कार्यवाहक प्राचार्य के बारे में मुख्यालय को सूचित करते थे। अब नए नियम अनुसार सभी प्राचार्यों को यह स्थिति स्पष्ट करनी होगी। साथ ही मुख्यालय को भी छुट्टी पर जाने से पहले कारण बताने होंगे।