फरीदाबाद में 9 साल के मासूम विनय की दर्दनाक हत्या ने पूरे शहर को झकझोर कर रख दिया। आरोपी कोई पेशेवर अपराधी नहीं, बल्कि आर्थिक तंगी से जूझ रहे दो युवक निकले, जिन्होंने फिरौती के लिए इस नृशंस अपराध को अंजाम दिया। पुलिस ने मामले में त्वरित कार्रवाई करते हुए दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है।
10 मार्च की सुबह इंद्रा एन्क्लेव निवासी महेंद्र का 9 वर्षीय बेटा विनय रोज की तरह खेलने निकला, लेकिन वह वापस नहीं लौटा। परिजनों ने आसपास तलाश की, लेकिन कोई सुराग नहीं मिला। अगले दिन 11 मार्च की सुबह एक फोन कॉल आया जिसने घरवालों की दुनिया ही उजाड़ दी। फोन पर किडनैपर ने विनय की रिहाई के बदले 5 लाख रुपये की मांग की और धमकी दी कि पुलिस में शिकायत करने पर उन्हें बेटे की लाश ही मिलेगी।
परिवार ने डर के बावजूद पुलिस को सूचना दी। इसी दौरान, सुबह पुलिस चौकी मांगर को सूचना मिली कि फरीदाबाद-गुरुग्राम रोड स्थित एक पेट्रोल पंप के पास एक बच्चे का शव पड़ा हुआ है। मौके पर पहुंची पुलिस और फॉरेंसिक टीम ने शव को कब्जे में लेकर सिविल अस्पताल भिजवाया। शव की पहचान विनय के रूप में हुई, जिससे पूरा परिवार गहरे सदमे में चला गया।
मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस ने जांच शुरू की और अपराध शाखा सेक्टर-48 की टीम ने मुख्य आरोपी अजीत सिंह और उसके साथी सहदाब को गिरफ्तार कर लिया। पूछताछ में सहदाब ने खुलासा किया कि अजीत ने उसे बताया था कि वह भारी कर्ज में डूबा हुआ है और पैसों के लिए विनय का अपहरण किया गया था।
आरोपी अजीत ने बच्चे की हत्या के बाद शव को ठिकाने लगाने के लिए सहदाब से उसकी स्कूटी मांगी थी। बाद में उसने बच्चे के शव को फरीदाबाद-गुड़गांव रोड पर फेंक दिया। सहदाब ने यह भी कबूल किया कि उसी ने फिरौती के लिए विनय के परिजनों को फोन किया था।
कर्ज ने बनाया कातिल, पुलिस कर रही गहन जांच
पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि वे भारी कर्ज में थे और जल्दी पैसे कमाने के लिए उन्होंने यह घिनौनी योजना बनाई। फिलहाल, पुलिस ने दोनों को कोर्ट में पेश कर रिमांड पर लिया है और वारदात में इस्तेमाल स्कूटी व मोबाइल बरामद करने की कोशिश कर रही है। पुलिस अब यह भी जांच कर रही है कि क्या आरोपियों का पहले से कोई आपराधिक रिकॉर्ड था या वे कर्ज की वजह से पहली बार अपराध के रास्ते पर चले थे।