- भाखड़ा नहर से पानी बंद होने पर हरियाणा-पंजाब में तनातनी तेज
- सीएम भगवंत मान और सीएम नायब सैणी के बयान वायरल
- मान बोले- हरियाणा वाले तो बेटी के घर से पानी नहीं पीते, अब नहर मांग रहे हैं
पानी अब सिर्फ जीवन की नहीं, सियासत की भी सबसे धारदार धारा बन गया है। पंजाब द्वारा भाखड़ा नहर से पानी रोकने के बाद हरियाणा और पंजाब के बीच राजनीतिक तल्खी चरम पर पहुंच चुकी है। जहां एक ओर हरियाणा में पेयजल और सिंचाई का संकट गहराता जा रहा है, वहीं दूसरी ओर पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान और हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सैणी के तीखे बयान सोशल मीडिया पर जुबानी युद्ध छेड़े हुए हैं।
एक वायरल वीडियो में नायब सैणी कहते नजर आ रहे हैं, “पड़ोसी ही हैं, मान साहब भी बैठे हैं… मैं कुछ नहीं बोल सकता, रिश्तेदार हैं।” वहीं, भगवंत मान की बात ने इस बयान को और चटपटा बना दिया। उन्होंने कहा, “हरियाणा वाले तो रसमों के बड़े पक्के हैं, अपनी बेटी के घर से पानी तक नहीं पीते, अब उसी कुड़ी के घर से नहरें मांग रहे हैं।”
इन जुबानी तीरों ने राजनीतिक मंच को मजाक और तल्खी के मेल में बदल दिया है। हरियाणा में जल संकट के बीच जब टैंकर दौड़ रहे हैं, तब नेताओं के ये बयानों ने लोगों की नाराज़गी और जिज्ञासा दोनों बढ़ा दी है। सीएम सैणी ने जहां रिश्तों की मर्यादा का हवाला दिया, वहीं भगवंत मान ने उसी रिश्ते को लेकर पानी पर कटाक्ष कर दिया।
इस पूरी जंग में भाखड़ा नहर की धार तो बंद है, लेकिन राजनीति की धार लगातार तेज होती जा रही है। हालात यह हैं कि एक ओर ग्रामीण पंचायतें पानी बर्बाद करने पर जुर्माना लगाने लगी हैं, वहीं शहरों में टैंकरों से पेयजल आपूर्ति की व्यवस्था करनी पड़ रही है। ऐसे में लोग सवाल पूछ रहे हैं—क्या रिश्तेदारी निभेगी या पानी बहेगा?