Telangana Election Voting Live : तेलंगाना में वीरवार को 119 सीटों पर कुल 2290 प्रत्याशियों की किस्मत का पिटारा ईवीएम में बंद हो चुका है। यहां 119 विधानसभा सीटों में से 19 अनुसूचित जाति और 12 अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित हैं। चुनाव खत्म होने के बाद अलग-अलग एजेंसियों के एग्जिट पोल जारी किए हैं। इस बार लोगों का मानना है कि प्रदेश में हुए विधानसभा चुनाव में कांग्रेस और बीआरएस की सत्ता को आमने-सामने हो सकती हैं। कांग्रेस को 48-64 सीटें मिल सकती हैं। वहीं केसीआर की पार्टी को 40-45 सीटें मिल सकती हैं। भाजपा को 7-13 और अन्य को 4-7 सीटें मिल सकती हैं।
तेलंगाना की 119 विधानसभा सीटों पर वीरवार को सुबह 7 बजे से मतदान शुरू किया गया। मतदान की समय सीमा शाम 5 बजे खत्म हो गई। अब उन्हीं मतदाताओं से वोट डलवाए जा रहे हैं, जो पहले से कतार लगे हैं। चुनाव आयोग के अनुसार तेलंगाना में शाम 5 बजे तक 63.94 प्रतिशत वोटिंग हुई है। वहीं आदिलाबाद में वोट देने आए दो बुजुर्गों 78 वर्षीय टोकला गंगम्मा और 65 वर्षीय राजन्ना की मौत हो गई। मतदान के दौरान पंक्ति में खड़ी टोकला गंगम्मा को अचानक दिल का दौरा पड़ गया। वहीं कतार में खड़े राजन्ना को चक्कर आने से वह नीचे गिर गए और इलाज के लिए अस्पताल ले जाते समय उनकी मौत हो गई।
बताया जा रहा है कि मतदान केंद्र पर पत्रकारों से बातचीत करने के कारण बीआरएस नेता के कविता के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई गई है। वहीं वोटिंग के दौरान कुछ जगहों पर भाजपा, कांग्रेस और बीआरएस कार्यकर्ताओं के विवाद का मामला भी सामने आया। पुलिस को विवाद खत्म करने के लिए लाठीचार्ज करना पड़ा।
चुनाव आयोग की मानें तो अब तक तेलंगाना में सुबह 11 बजे तक 20.64 फीसदी वोटिंग हुई है। वहीं दोपहर 1 बजे तक 37 प्रतिशत मतदान हो चुका है इन चुनाव में बीआरएस अपनी सत्ता बरकरार रखना चाहती है तो कांग्रेस सत्ता में वापसी का मूढ़ बना रही है, वहीं भाजपा में सत्ता हासिल करने के लिए जोर लगा रही है। इस बीच तेलंगाना में भाजपा, कांग्रेस और बीआरएस कार्यकर्ताओं के बीच झड़प का मामला सामने आया है।
बता दें कि तेलंगाना विधानसभा का कार्यकाल 16 जनवरी 2024 को समाप्त होने जा रहा है। पिछले दिसंबर 2018 के विधानसभा चुनावों में तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस) ने जीत दर्ज करते हुए अपनी सरकार बनाई थी। के चंद्रशेखर राव दूसरी बार तेलंगाना के मुख्यमंत्री बने थे। गौरतलब है कि अब टीआरएस का नाम बदलकर भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) हो गया है। इस बार के विधानसभा चुनाव में सत्तारूढ़ पार्टी बीआरएस BRS, कांग्रेस और भाजपा के बीच चुनावी रण बना हुआ है, जबकि वर्ष 2018 में बीआरएस ने 88, कांग्रेस ने 19 सीटें और भाजपा ने एक सीट पर अपनी जीत दर्ज की थी।
सुबह शुरू हुई वोटिंग के बाद मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव, पूर्व क्रिकेटर एवं जुबली हिल्स से कांग्रेस प्रत्याशी मोहम्मद अजहरुद्दीन और एआईएमआईएम के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने मतदान किया है। हरियाणा के राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय ने तेलंगाना की राजधानी हैदराबाद में अपना वोट डाला। उन्होंने पत्रकारों से बातचीत में बताया कि वर्ष 1983 से लेकर आज तक उन्होंने हर चुनाव में मतदान किया है। वोटिंग इस देश के संविधान और लोकतंत्र के लिए बहुत जरूरी है। सभी को मतदान के लिए आगे आना चाहिए।
भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष एवं केंद्रीय गृह राज्य मंत्री किशन रेड्डी, मुख्यमंत्री चंद्रशेखर राव के बेटे एवं मंत्री केटीआर, बेटी के कविता ने बंजारा हिल्स में अपना वोट डाला। इनके अलावा साउथ के सुपर स्टार चिरंजीवी, अल्लू अर्जुन, जूनियर एनटीआर और ऑस्कर विनिंग सॉन्ग नाटू-नाटू के म्यूजिक कंपोजर एमएम किरावाणी ने भी मतदान किया। वाईएसआर तेलंगाना की प्रमुख वाईएस शर्मिला ने हैदराबाद में मतदान किया। वह इस बार विधानसभा चुनाव में कांग्रेस का समर्थन कर रही हैं।
इससे पहले तेलंगाना में दोपहर 1 बजे तक 37 फीसदी वोटिंग हुई। जिसके तहत आदिलाबाद में 41.88, हैदराबाद में 20.79, कामारेड्डी में 40.78, करीमनगर में 40.73, खम्मम में 42.93, महबूबनगर में 44.93, मेडक में 50.80, निजामाबाद में 39.66, रंगारेड्डी में 29.79 और वारंगल में 37.25 मतदान हुआ है। इससे पहले तेलंगाना में सुबह 11 बजे तक कुल 20.64 फीसदी मतदान हुआ। कुछ बूथों पर भाजपा, कांग्रेस और बीआरएस के कार्यकर्ताओं के बीच हल्की गहमा गहमी हुई। पुलिस ने मामले को गंभीरता से लेते हुए हल्का बल प्रयोग कर काबू किया।
3.17 करोड़ से ज्यादा मतदाताओं में 8 लाख पहली बार करेंगे मतदान
स्टेट इलेक्शन कमीशन के अनुसार विधानसभा चुनाव तेलंगाना में इस बार 3.17 करोड़ से ज्यादा लोग मतदान करेंगे। इनमें 8 लाख ऐसे मतदान हैं, जो पहली बार अपने मत का प्रयोग करेंगे। चुनाव में राष्ट्रीय और प्रदेश स्तरीय कुल 109 पार्टियों के 2290 उम्मीदवार अपना भाग्य आजमा रहे हैं।
प्रदेश में कुल 35 हजार 655 मतदान केंद्र बनाए गए हैं। इनमें 511 केंद्र संवेदनशील हैं। यह सभी छत्तीसगढ़ और महाराष्ट्र की सीमा से लगे केंद्र बताए जा रहे हैं और नक्सल प्रभावित हैं। सुरक्षा के दृष्टिगत सेंट्रल आर्म्ड पुलिस फोर्स की 100 से ज्यादा कंपनियां यहां तैनात की गई हैं। वीरवार को मतदान होने के बाद 3 दिसंबर को परिणाम सामने आएंगे।