Hisar से भाजपा कैंडिडेट और कैबिनेट मंत्री रणजीत सिंह चौटाला(Ranjit Chautala) के नामांकन के दौरान पूर्व शिक्षा मंत्री राम बिलास शर्मा(Ram Bilas Sharma) भड़क गए। कार्यकर्ताओं के बीच खड़े पूर्व मंत्री तब बहुत नाराज हो गए जब एक कार्यकर्ता ने कह दिया ‘आपको कोई बुला रहा है। इस पर शर्मा गुस्से में बोले कि कौन बुला रहा है। बताया जा रहा है कि जब सभी अंदर जा रहे थे, तो पुलिस(Police)ने शर्मा(Sharma) को रोक दिया था।
फिर जब उनसे पूछा गया कि रणजीत सिंह चौटाला के नॉमिनेशन से उन्हें खुशी हुई या नहीं? इसका जवाब शर्मा नहीं दे पाए। इसके बाद पूर्व मंत्री ने एक कार्यकर्ता से कहा, ‘भाई क्यों धक्का कर रहे हो। मैं तो यहां रणजीत सिंह चौटाला को आशीर्वाद देने आया हूं। कार्यकर्ताओं के बीच सड़क पर खड़ा हूं। जब VIP बाहर आ जाएंगे तो मैं उनके साथ हो जाऊंगा। दरअसल बुधवार को रणजीत चौटाला का नामांकन होना था, इसलिए पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर सहित हांसी, नलवा और हिसार के विधायक भी मौके पर मौजूद थे। इसके लिए पूर्व प्रदेशाध्यक्ष प्रो. राम बिलास शर्मा को भी बुलाया गया था। जब नामांकन के लिए भाजपा का काफिला सचिवालय निकला तो राम बिलास शर्मा की गाड़ी पीछे रह गई। उधर किसानों के विरोध को देखते हुए पुलिस ने सचिवालय में बैरिकेडिंग की हुई थी।
इस बीच पूर्व सीएम मनोहर, उम्मीदवार रणजीत चौटाला और विधायकों की गाड़ियां तो सचिवालय में चली गईं, लेकिन पीछे आ रहे राम बिलास शर्मा को पुलिस ने अंदर जाने से रोक दिया। इसके बाद राम बिलास शर्मा बाहर कार्यकर्ताओं के बीच में ही खड़े रह गए और नेताओं के लौटने का इंतजार करने लगे। किसानों को पता चला तो वे राम बिलास शर्मा के सामने आकर विरोध करने लगे। इस बीच भाजपा कार्यकर्ताओं ने राम बिलास शर्मा का बचाव किया।
उल्टा कार्यकर्ता पर भी गर्म हुए शर्मा
इसी दौरान मीडियाकर्मियों ने राम बिलास शर्मा से सवाल-जवाब शुरू किए। तभी एक कार्यकर्ता ने शर्मा को अंदर आने के लिए कहा, लेकिन वह गए नहीं। उल्टा कार्यकर्ता पर भड़क गए। तभी उन्होंने कहा, ‘मैं कार्यकर्ताओं से मिलने आया हूं और रणजीत चौटाला को आशीर्वाद देने आया हूं। मैं कार्यकर्ताओं के साथ खड़ा हूं। जो वीआईपी थे, वे अंदर चले गए। वे बाहर आएंगे तो उनके साथ ही जाऊंगा। इसके बाद भाजपा नेता मनदीप मलिक हाथ पकड़कर अंदर ले जाने लगे तो शर्मा ने उनसे हाथ झिड़क दिया और अपनी गाड़ी की तरफ चले गए। जिसके बाद वहां मौजूद कार्यकर्ताओं ने ढोल बजाने और BJP जिंदाबाद के नारे लगाने शुरू कर दिए और पूर्व शिक्षा मंत्री वहां से चले गए।