Faridabad शहर में चिकित्सा सुविधाओं की कमी को लेकर रैफर मुक्त फरीदाबाद अभियान के तहत चल रहा धरना आज 30वें दिन में प्रवेश कर गया। धरने का नेतृत्व सेवा वाहन संचालक सतीश चोपड़ा कर रहे हैं। इस मौके पर जेडीयू के युवा नेता चौ. सचिन तंवर सांकेतिक भूख हड़ताल पर बैठे और आंदोलन को अपना समर्थन दिया।
धरने के प्रतिनिधिमंडल ने अपनी मांगों को लेकर राज्य मंत्री गौरव गौतम और कांग्रेस विधायक रघुबीर सिंह तेवतिया से मुलाकात की और ज्ञापन सौंपा। ज्ञापन में फरीदाबाद में ट्रॉमा सेंटर, सुपर स्पेशलिस्ट डॉक्टरों की नियुक्ति और सरकारी अस्पतालों की सेवाओं में सुधार की मांग की गई।

धरने को इंकलाबी मजदूर केंद्र के संजय मौर्य, पूर्णिमा, दीपक, संतोष, दिनेश मौर्य सहित अन्य कई सामाजिक संगठनों का समर्थन मिला। वरिष्ठ एडवोकेट नरेंद्र पाल ने कहा कि फरीदाबाद में चिकित्सा सेवाओं की स्थिति बेहद खराब है। उन्होंने कहा कि लोग समय पर इलाज न मिलने के कारण दम तोड़ रहे हैं। सरकारी अस्पतालों में दवाइयों, आईसीयू और सुपर स्पेशलिस्ट डॉक्टरों की कमी है, जिससे मजबूरन नागरिकों को महंगे प्राइवेट अस्पतालों का सहारा लेना पड़ता है।
सतीश चोपड़ा ने स्पष्ट किया कि जब तक फरीदाबाद में ट्रॉमा सेंटर नहीं बनता और अटल बिहारी वाजपेयी मेडिकल कॉलेज, छायंसा में आईपीडी सेवा शुरू नहीं होती, आंदोलन जारी रहेगा। उन्होंने कहा कि यह लड़ाई नागरिकों के हक और उनके जीवन को बचाने के लिए है। पिछले 30 दिनों में 125 से अधिक सामाजिक और धार्मिक संस्थाओं ने हमारा समर्थन किया है, जिसके लिए हम उनके आभारी हैं।
धरने में बड़ी संख्या में लोग उपस्थित रहे, जिनमें मुख्य सहयोगी अनशनकारी बाबा रामकेवल, अंतरराष्ट्रीय रणजी खिलाड़ी संजय भाटिया, एडवोकेट नरेंद्र पाल, संतोष यादव, अभिषेक गोस्वामी, और अन्य शामिल थे।