- हरियाणा, पंजाब और चंडीगढ़ में आज शाम 5 बजे से मॉक ड्रिल और ब्लैकआउट का अभ्यास किया जाएगा, जो ऑपरेशन शील्ड के तहत हवाई हमलों और युद्ध स्थिति से निपटने के लिए है।
- ब्लैकआउट रात 8 बजे से 8:15 बजे तक होगा, जिसके दौरान जरूरी सेवाओं को छोड़कर सभी लाइटें बंद रखने के निर्देश हैं।
- हालिया घटनाओं में सिरसा एयरबेस पर हमले की कोशिश, ड्रोन अटैक और मिसाइल हमलों की घटनाएं सामने आई हैं, जिनके चलते यह अभ्यास जरूरी माना गया है।
Mock drill for air attack: हरियाणा, पंजाब और चंडीगढ़ में आज शाम 5 बजे से लेकर रात 9 बजे तक युद्ध जैसी स्थिति में रेस्क्यू और प्रतिक्रिया को परखने के लिए मॉक ड्रिल का आयोजन किया जाएगा। इस अभियान को ‘ऑपरेशन शील्ड’ नाम दिया गया है। ड्रिल की शुरुआत 5 बजे सायरन बजाकर की जाएगी जो हवाई हमले या मिसाइल अटैक के संकेत के रूप में उपयोग होगा। यह ड्रिल सभी जिलों के शहरी और ग्रामीण इलाकों में एक साथ की जाएगी।
ब्लैकआउट की अवधि 15 मिनट की होगी—यह रात 8:00 से 8:15 बजे तक लागू रहेगा। इस दौरान सभी दुकानों, घरों, प्रतिष्ठानों को अपनी बाहरी लाइटें बंद रखनी होंगी। घरों में लाइट जल सकती हैं, लेकिन मोटे पर्दों का उपयोग अनिवार्य होगा ताकि प्रकाश बाहर न निकले।
इस अभ्यास में सिविल डिफेंस वार्डन, एनसीसी, एनएसएस, स्काउट्स एंड गाइड्स, और युवा केंद्रों के सदस्य शामिल रहेंगे, जो आपातकालीन स्थितियों में प्रशासन का सहयोग करेंगे। ड्रिल के दौरान एम्बुलेंस, पुलिस और फायर ब्रिगेड का रिस्पॉन्स टाइम परखा जाएगा।
इस अभ्यास की जरूरत इसलिए पड़ी क्योंकि हाल ही में ऑपरेशन सिंदूर के बाद पाकिस्तान की ओर से सिरसा एयरबेस, अंबाला, पंजाब के कई बॉर्डर जिलों और चंडीगढ़ में ड्रोन व मिसाइल अटैक की कोशिशें हुई थीं। 9 मई को सिरसा में मिसाइल के टुकड़े गिरे, वहीं फिरोजपुर में एक ड्रोन अटैक में एक महिला की मौत हो गई थी। पठानकोट और आदमपुर एयरबेस पर भी हल्के नुकसान की खबरें मिली थीं।
इस मॉक ड्रिल का उद्देश्य सिर्फ सरकार और सेना की तैयारी नहीं बल्कि आम जनता को भी संकट के समय सहयोग और सतर्कता की ट्रेनिंग देना है। यह अभ्यास भविष्य की किसी भी आपदा से निपटने की रणनीति का हिस्सा है।