Panipat : देशबंधु गुप्ता राजकीय महाविद्यालय पानीपत के इतिहास विभाग में असिस्टेंट प्रोफेसर के पद पर कार्यरत ग्रीनमैन दलजीत कुमार(Daljeet Kumar) ने सुखेपत्तो को जलाने की बजाए जैविक खाद(making organic fertilizer) बनाकर पर्यावरण संरक्षण की दिशा में मिसाल(new experiment) कायम की।
ग्रीनमैन प्रोफेसर दलजीत कुमार ने बताया कि इको क्लब के अंतर्गत लगभग दो साल पहले 22 फिट लम्बा, 11 फिट चौड़ा और 11 फिट गहरा गड्डा बनाकर महाविद्यालय में जैविक खाद केंद्र(Organic Fertilizer Center) स्थापित करके महाविद्यालय से प्राप्त सुखेपत्तो, हैज कटिंग, कागज व अन्य वेस्ट मटीरियल को गड्ढे में डालकर वैज्ञानिक विधि से लगभग 30 से 35 क्विंटल जैविक खाद बनाने में सफलता प्राप्त की है। इस जैविक खाद के प्रयोग से अनेक प्रकार की बीमारियों से बचाव होगा, वहीं विद्यार्थी व गणमान्य लोग जैविक खाद के महत्व के बारे में भी जागरूक होंगे।
इस जैविक खाद को महाविद्यालय में प्रयोग करने के साथ ही विद्यार्थियों, महाविद्यालय स्टॉफ व आसपास के स्कूलों-महाविद्यालयो दान दिया जाएगा, ताकि लोगों सुखेपत्तो और वेस्ट मटीरियल को जलाने की बजाए जैविक खाद बनाकर पर्यावरण संरक्षण व इसके महत्व के प्रति जागरूक नागरिक बन सके। महाविद्यालय के प्रिंसिपल डॉ. दलजीत सिंह ने कहा कि ग्रीनमैन प्रोफेसर दलजीत कुमार ने इतनी बड़ी मात्रा में सुखेपत्तो से जैविक खाद बनाकर पर्यावरण संरक्षण की दिशा में शानदार काम किया है। महाविद्यालय में यदि इन सुखे पत्तों व टहनियों को जलाया जाता तो बहुत अधिक मात्रा में प्रदूषण होता। वेस्ट से बेस्ट बनाना ग्रीनमैन दलजीत कुमार की यह उपलब्धि अभूतपूर्व व दुसरो के लिए प्रेरणादायक है।
2021 में भी बना चुके जैविक खाद
ग्रीनमैन प्रोफेसर दलजीत कुमार ने जैविक खाद बनाने के जैविक खाद बनाने में विशेष सहयोग के लिए डॉ तकदीर सिंह, अनिल माली, इको क्लब के सभी विद्यार्थियों का आभार व्यक्त किया। इससे पहले सन 2021 में राजकीय महाविद्यालय इसराना में अपने पुराने महाविद्यालय में भी ग्रीनमैन प्रोफेसर दलजीत कुमार द्वारा बड़े पैमाने पर सुखेपत्तो से जैविक खाद बनाई थी।