rewari-retired sub inspector se hue sade 3 lakh rupay ki thaggi

Rewari : रिटायर्ड सब इंस्पेक्टर से हुई साढ़े 3 लाख रूपये की ठगी

रेवाड़ी हरियाणा

प्रदेश के रेवाड़ी में पुलिस के रिटायर्ड सब इंस्पेक्टर के साथ शातिर बदमाशों द्वारा साढ़े 3 लाख रुपए की ठगी करने का मामला सामने आया है। जिसमें पीड़ित व्यक्ति ने सीएनजी पंप के लिए ऑनलाइन साइट पर अप्लाई किया था। जिसके बाद आरोपियों ने जाल में फंसाया और आरटीजीएस के जरिए खाते में पैसे डलवा लिए। साइबर थाना पुलिस ने पीड़ित की शिकायत पर धोखाधड़ी का केस दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है।

मूलरूप से महेन्द्रगढ़ जिले के रहने वाले हरियाणा पुलिस में सब इंस्पेक्टर पद से कुछ समय पहले रिटायर्ड हुए सुरेन्द्र कुमार रेवाड़ी शहर के शक्ति नगर स्थित गली नंबर-6 में परिवार के साथ रहते है। सुरेन्द्र कुमार ने बताया कि जून माह में उन्होंने सीएनजी पंप के लिए अडानी गैस प्राइवेट लिमिटेड के नाम की एक ऑनलाइन साइट पर महेन्द्रगढ़ लोकेशन के लिए अप्लाई किया था। इसके बाद 6 जून को उनके पास एक अनजान नंबर से कॉल आई।

सीएनजी पंप के लिए किया था अप्लाई
कॉल करने वाले ने सुरेन्द्र कुमार से पूछा कि आपने सीएनजी पंप के लिए अप्लाई किया था। सुरेन्द्र की तरफ से बताया कि हां मैंने ही अप्लाई किया है। जिसके बाद कॉल करने वाले शातिर व्यक्ति ने सुरेन्द्र कुमार के आधार कार्ड के लास्ट वाले नंबर पूछे। अगले दिन फिर दूसरे नंबर से कॉल आई और कहा कि आप अपनी मेल चेक करो और जो कागजात मांगे है, वह मेल पर ही भेज दीजिए। इसके बाद सुरेन्द्र ने मेल के जरिए आधार, पैन कार्ड, 10टीएच सर्टिफिकेट भेज दी।

उन नंबरों पर कई बार किया संपर्क, नहीं हो पाया
​​​​​​​सुरेन्द्र ने जानकारी देते हुए बताया कि कागजात भेजने के बाद आरोपी ने शुरुआती फीस के तौर पर एक्सिस बैंक के जरिए 52800 रुपए आरटीजीएस के जरिए आरोपी द्वारा बताए गए खाते में भेज दिए। 23 जून को शातिर की फिर से कॉल आई और बताया कि लाइसेंस की 2,95,000 फीस आपको आरटीजीएस करनी होगी। सुरेन्द्र ने ये पैसे भी आरटीजीएस के जरिए आरोपी द्वारा बताए गए खाते में भेज दिए। काफी समय बाद भी जब उन्हें सीएनजी का पंप नहीं मिला तो सुरेन्द्र ने जिन नंबर से कॉल आई उन पर संपर्क किया, लेकिन आरोपियों से संपर्क नहीं हो पाया।

पैरों तले खिसकी जमीन
कई दिनों तक इंतजार करने के बाद सुरेन्द्र कुमार गुजरात के अहमदाबाद स्थित अडानी गैस प्राइवेट एलटीडी में पहुंच गए और वहां जाकर जानकारी जुटाई तो पता चला कि यह फ्रॉड हुआ है। कंपनी की तरफ से बताया गया कि हमारी कोई ऐसी साइट नहीं है। इसके बाद सुरेन्द्र कुमार के पैरों तले जमीन खिसक गई। सुरेन्द्र कुमार का कहना है कि उन्होंने उसी समय बैंक डिटेल के साथ साइबर थाना पुलिस को शिकायत दी, लेकिन पुलिस ने 2 माह तक लटकाए रखा और अब जाकर एफआईआर दर्ज की है।

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