➤ भविष्य में चार धाम यात्रा के लिए हेली सेवा शुरू करने से पहले अनिवार्य होगी तकनीकी जांच
➤ हेलिकॉप्टर उड़ान से पहले मौसम की सटीक जानकारी और पायलट की योग्यता होगी जांच के दायरे में
➤ हेलिकॉप्टर कंपनियों को संचालन के लिए नए सिरे से लाइसेंस और सुरक्षा मंजूरी लेनी होगी
विस्तृत खबर:
Kedarnath Helicopter Crash: उत्तराखंड के केदारनाथ में रविवार सुबह 5:20 बजे बड़ा हादसा हो गया। श्रद्धालुओं को लेकर गौरीकुंड लौट रहा एक हेलिकॉप्टर क्रैश हो गया, जिसमें पायलट समेत सभी 7 लोगों की मौत हो गई। मृतकों में महाराष्ट्र का एक 2 साल का बच्चा भी शामिल है। हादसे की वजह खराब मौसम मानी जा रही है।
हेलिकॉप्टर आर्यन एविएशन कंपनी का था। इसमें उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र, गुजरात और उत्तराखंड के श्रद्धालु सवार थे। पायलट राजवीर सिंह चौहान, जयपुर (राजस्थान) से थे।
हेलिकॉप्टर में आग लग गई और वह गौरीकुंड के जंगलों में जलकर पूरी तरह खाक हो गया। मौके पर NDRF व SDRF की टीमें राहत और बचाव कार्य में जुटी हैं। उत्तराखंड सरकार ने चार धाम यात्रा में हेलिकॉप्टर सेवाओं पर अस्थायी रोक लगा दी है और भविष्य के लिए सख्त उड़ान नियम बनाने की घोषणा की है।
हादसे से जुड़ी 3 बड़ी बातें:
- हेलिकॉप्टर में सवार 7 श्रद्धालु और पायलट की मौत
मृतकों में यूपी, महाराष्ट्र, गुजरात और उत्तराखंड के यात्री शामिल हैं। मरने वालों की सूची:- पायलट राजवीर सिंह (जयपुर)
- विक्रम सिंह रावत (उत्तराखंड)
- विनोद देवी व तृष्टि सिंह (उत्तर प्रदेश)
- श्रद्धा जायसवाल व 2 साल का काशी (महाराष्ट्र)
- राजकुमार सुरेश (गुजरात)
- हेली सर्विस पर रोक, सरकार बनाएगी सख्त नियम
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि अब हेलिकॉप्टर सेवा के संचालन से पहले तकनीकी जांच, पूर्व मौसम रिपोर्ट, और सुरक्षा मापदंडों को अनिवार्य किया जाएगा। - हेलिकॉप्टर हादसे की श्रृंखला में एक और दुखद घटना
यह घटना ऐसे समय में हुई है जब पिछले एक महीने में 3 बड़े हेलिकॉप्टर हादसे हो चुके हैं, जिनमें कई लोगों की जान जा चुकी है। इससे पहले 8 मई और 17 मई को उत्तरकाशी और केदारनाथ में हादसे हुए थे।