● बीजेपी के वारिस? – सीएम योगी बोले, “मैं योगी हूं, कोई वारिस नहीं”।
● दिल्ली-लखनऊ मनमुटाव? – “डबल इंजन सरकार पूरी तरह से समन्वय के साथ काम कर रही है”।
● स्वतंत्रता पर सवाल? – “मेरी कार्यपद्धति से क्या लगता है कि मैं बंधकर काम कर रहा हूं?”
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ हाल ही में इंडिया टुडे कॉन्क्लेव में शामिल हुए, जहां उनसे उनकी राजनीति और भविष्य को लेकर कई सवाल पूछे गए। योगी आदित्यनाथ ने हर सवाल का अपने खास अंदाज में जवाब दिया। खासतौर पर जब उनसे पूछा गया कि क्या वे भारतीय जनता पार्टी के भविष्य के वारिस माने जा सकते हैं, तो उनका जवाब चर्चा में आ गया।
“मैं कोई वारिस नहीं, मैं एक योगी हूं”
सीएम योगी से पूछा गया कि वे चाहें या न चाहें, लेकिन जनता और राजनीतिक विश्लेषक उन्हें बीजेपी की राजनीति का वारिस मानते हैं। इस पर सीएम योगी ने स्पष्ट शब्दों में कहा, “मैं कोई वारिस नहीं हूं, मैं एक योगी हूं और योगी के रूप में ही काम करना चाहता हूं। भारत माता के सेवक के रूप में उत्तर प्रदेश की जनता की सेवा मेरी प्राथमिकता है।” उन्होंने यह भी कहा कि “मुझे अच्छा लगेगा कि काम करते-करते मुझे गोरखपुर जाने का अवसर मिले ताकि मैं अपने योगी धर्म को और आगे बढ़ा सकूं।”
दिल्ली और लखनऊ के बीच मतभेद?
जब सीएम योगी से दिल्ली और लखनऊ के बीच मतभेद की अफवाहों पर सवाल किया गया तो उन्होंने इसे पूरी तरह से खारिज कर दिया। उन्होंने कहा, “मैं एक योगी हूं, मेरा मेल-जोल किसी से खराब क्यों होगा? प्रधानमंत्री मोदी हमारे नेता हैं और राष्ट्रीय नेतृत्व का सम्मान करना मेरा धर्म है, जिसे मैं पूरी निष्ठा से निभाता हूं।”
योगी आदित्यनाथ ने जोर देकर कहा कि उत्तर प्रदेश में “डबल इंजन की सरकार पूरी तरह समन्वय के साथ कार्य कर रही है। प्रधानमंत्री और राष्ट्रीय नेतृत्व से जो भी निर्देश मिलते हैं, उन्हें शत-प्रतिशत धरातल पर उतारने का कार्य होता है।”
उन्होंने उन लोगों पर भी निशाना साधा जो ऐसी अफवाहें फैलाते हैं। उन्होंने कहा, “कुछ बेरोजगार लोग हैं, जिनके पास कोई काम नहीं है, वे ऐसी बातें फैलाते हैं। अब वे कुछ तो बोलेंगे ही।”
लोकसभा चुनाव में मतभेद की चर्चा?
जब योगी से पूछा गया कि लोकसभा चुनाव के समय दिल्ली और लखनऊ के बीच मतभेद की चर्चाएं क्यों तेज हो गई थीं, तो उन्होंने इसे भी सिरे से खारिज कर दिया। उन्होंने कहा, “कहने वालों का मुंह मैं बंद नहीं कर सकता, और न ही किया जाना चाहिए। उनकी रोजी-रोटी इसी से चलती है।”
योगी आदित्यनाथ ने प्रधानमंत्री मोदी की सराहना करते हुए कहा कि “यह हमारा सौभाग्य है कि हमें इस सदी के सबसे बड़े नेता नरेंद्र मोदी का नेतृत्व मिल रहा है, जिनके नेतृत्व में बीजेपी और देश, दोनों आगे बढ़ रहे हैं।”
फैसले लेने में घुटन महसूस होती है?
जब सीएम योगी से पूछा गया कि क्या उन्हें फैसले लेने में घुटन महसूस होती है, क्योंकि बीजेपी नेतृत्व से उन्हें उतनी स्वतंत्रता नहीं मिलती जितनी वे चाहते हैं, तो उन्होंने इसे भी पूरी तरह खारिज कर दिया। उन्होंने कहा, “मेरी कार्यशैली देखकर क्या आपको लगता है कि मैं बंधकर काम कर रहा हूं? यह तो बहुत अजीब सवाल है।”