Haryana Politics : हरियाणा में जननायक जनता पार्टी (जजपा) को फिर बड़ा झटका लगा है। जैसे-जैसे लोकसभा चुनाव की नजदीकियां बढ़ रही हैं, वैसे-वैसे जजपा के झटकें बढ़ते जा रहे हैं। जजपा के नेता अपने कार्यकर्ताओं के साथ पार्टी से किनारा करने लगे हैं। जजपा के प्रदेशाध्यक्ष निशान सिंह से शुरू हुआ त्याग पत्र का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। अब करनाल में जननायक जनता पार्टी के जिला प्रधान महासचिव सुरेंद्र टाया गोहिदा ने पार्टी की सदस्यता और अपने दायित्वों से त्याग पत्र दे दिया है। उन्होंने पार्टी में अनदेखी के चलते अपना इस्तीफा दिया है।
गौरतलब है कि करनाल में जननायक जनता पार्टी के जिला प्रधान महासचिव सुरेंद्र टाया गोहिदा के इस्तीफा देने का मुख्य कारण डॉ. अजय सिंह चौटाला के अलावा कोई भी शीर्ष नेता अनुभवी व पुराने कार्यकर्ताओं का मान सम्मान नहीं करना बताया जा रहा है। ऐसा पार्टी में पिछले काफी समय से हो रहा है। जिसका परिणाम है कि पार्टी के कई पुराने और अनुभवी कार्यकर्ता लगातार पार्टी को अलविदा कह रहे हैं। सुरेंद्र टाया ने कहा कि जननायक जनता पार्टी में मेहनती कार्यकर्ताओं का सम्मान नहीं हो रहा। इसलिए उन्होंने यह फैसला लिया गया है। वह आगे किस पार्टी में जाएंगे। यह अपने सम्मानित साथियों के साथ चर्चा करके ही फैसला लिया जाएगा।
बता दें कि लोकसभा चुनाव से पहले राजनीतिक पार्टियों में नेताओं के दल-बदल का दौर जारी है। जजपा में एक के बाद एक कई नेता पार्टी को अलविदा कह चुके हैं। अब करनाल में जजपा के जिला प्रधान महासचिव सुरेंद्र टाया गोहिदा ने पार्टी को अलविदा कहते हुए सदस्यता और अपने दायित्व से त्याग पत्र दे दिया है। वहीं दो दिन पहले वर्ष 2019 में अंबाला सिटी विधानसभा सीट से चुनाव लड़ने वाले और वर्तमान में पार्टी के प्रदेश महासचिव हरपाल कंबोज ने पार्टी को अलविदा किया था।
अंबाला में पत्रकारों के साथ बातचीत में हरपाल कंबोज ने घोषणा करते हुए कहा था कि उन्होंने अपना इस्तीफा पार्टी सुप्रीमो डॉ. अजय चौटाला को भेज दिया है। पिछले 20 से 25 वर्षों से वह देवीलाल परिवार से जुड़े हुए थे। जजपा के गठन से ही वह अजय चौटाला और दुष्यंत के साथ थे। बता दें कि हरपाल सिंह कंबोज पार्टी के 4 साल जिलाध्यक्ष भी रहे। कंबोज का कहना था कि सबसे पहले उन्होंने ही अंबाला में जजपा का झंडा उठाया है। इस्तीफा देने के कारणों पर कंबोज ने कहा था कि कोई खास कारण नहीं है। उन्होंने व्यक्तिगत रूप से इस्तीफा दिया है। किसी से उनका कोई मतभेद नहीं रहा। आगामी फैसले के लिए वह अपने साथियों के साथ विचार कर अगला कदम उठाएंगे।