Haryana विधानसभा चुनाव प्रचार के दौरान नूंह हिंसा के आरोपी बिट्टू बजरंगी उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के मंच पर नजर आए। उन्होंने फरीदाबाद की एनआईटी (86) विधानसभा से बीजेपी प्रत्याशी का समर्थन करने की घोषणा की। बिट्टू बजरंगी ने इसी विधानसभा से निर्दलीय चुनाव लड़ने के लिए अपना पर्चा भरा था।
इस चुनावी कार्यक्रम में योगी आदित्यनाथ मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित थे, उनके साथ केंद्रीय राज्य मंत्री कृष्ण पाल गुर्जर, बड़खल विधानसभा के प्रत्याशी धनेश अधलखा, एनआईटी विधानसभा के बीजेपी उम्मीदवार सतीश कुमार फागना, पृथला विधानसभा के प्रत्याशी टेक चांद शर्मा और कई स्थानीय बीजेपी नेता मौजूद थे।
बिट्टू बजरंगी ने अपने संबोधन के दौरान कांग्रेस उम्मीदवार मामन खान पर भी हमला बोला। उन्होंने कहा कि मामन खान यह कहते हैं कि यदि उनकी सरकार आएगी तो कई लोगों को मेवात छोड़ना पड़ेगा। बजरंगी ने आगे कहा कि सरकार केवल एक की नहीं, बल्कि सभी की होती है, इसलिए सभी सनातनी एक होकर हरियाणा में बीजेपी की सरकार बनाएं।
बिट्टू बजरंगी ने कहा कि जनता कांग्रेस से दुखी है और नेता अब लाखों-करोड़ों खर्च कर चुनाव लड़ रहे हैं। उन्होंने यह भी कहा कि यदि बहन-बेटियों के साथ लव-जिहाद होगा या गौकशी की घटनाएं होंगी, तो वे अपनी आवाज उठाते रहेंगे।
कौन हैं बिट्टू बजरंगी?
बिट्टू बजरंगी, जिनका असली नाम राजकुमार है, फरीदाबाद की पर्वतीय कॉलोनी का निवासी है। खुद को हनुमान भक्त बताने के कारण लोग उन्हें ‘बजरंगी’ के नाम से जानते हैं। वह गोरक्षा के नाम पर सक्रिय हैं और उनके खिलाफ कई केस भी दर्ज हैं। उन्होंने गोरक्षा बजरंग फोर्स नामक संगठन भी बनाया है और बीजेपी के कार्यक्रमों में शामिल होते रहे हैं, लेकिन उनके पास कोई पद नहीं है।
विवादों से पुराना नाता
बिट्टू बजरंगी ने एनआईटी फरीदाबाद सीट से निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर अपना नामांकन दाखिल किया था। नूंह हिंसा मामले में आरोपी होने के कारण उनका विवादों से पुराना नाता रहा है, जो पिछले साल जुलाई में विश्व हिंदू परिषद (VHP) द्वारा आयोजित जुलूस पर भीड़ द्वारा हमले के बाद भड़की थी।