Fatehabad के बस स्टैंड के पीछे स्थित लूथरा अस्पताल की संचालिका डॉ. सुनीता लूथरा ने आज तड़के फंदा लगाकर आत्महत्या(suicide) कर ली है। स्थानीय पुलिस तकनीकी छानबीन में जुटी हुई है। घटना का कारण परिवारिक मुद्दे को माना जा रहा है, जो कि पुलिस जांच के तहत जारी है।
जानकारी अनुसार करीब 65 वर्षीय डॉ. देवेंद्र लूथरा और उनकी 62 वर्षीय पत्नी डॉ. सुनीता लूथरा ने बस स्टैंड के पीछे कई सालों से चल रहे चर्म रोग व मैटरनिटी अस्पताल का प्रबंधन किया था। उनके बेटे डॉ. प्रतीक लूथरा भी नैंसी लूथरा के साथ अपनी क्लीनिक चला रहे हैं। अस्पताल का मुख्यालय तथा उसकी ऊपरी मंजिल पर परिवार के सदस्यों की रहन-सहन थी। मृतका के बेटे डॉ. प्रतीक ने बताया कि उनकी मां दिनचर्या में परेशानी थी और आज सुबह उन्हें कमरे में पंखे से बंधे फंदे पर लटकी हुई पाया गया। जिसके बाद उन्होंने पुलिस को सूचित किया और मामले की जांच के लिए कार्रवाई की गई।

मामले में सिटी थाने के SHO रणजीत सिंह ने बताया कि पुलिस अभी मामले की पूरी जांच कर रही है। घरवालों और रिश्तेदारों से बयान लिए जा रहे हैं, ताकि मामले की सच्चाई सामने आ सके। मामले के बयानों के अनुसार डॉ. सुनीता लूथरा के परिवार में कई समस्याएं चल रही थीं। उनके बेटे डॉ. प्रतीक ने बताया कि उनकी पत्नी और मां के बीच में अक्सर विवाद होता था और वे एक-दूसरे से बात नहीं करती थीं।

भाईयों ने जताया देवेंद्र के खिलाफ गुस्सा
डॉ. सुनीता लूथरा के भाई विकास झंडई और सुनील ने डॉ. देवेंद्र लूथरा के खिलाफ गुस्सा जताया है। उन्होंने कहा कि देवेंद्र उनकी बहन को परेशान करते थे और इसी कारण से वे कई सालों से उनके घर नहीं आ रहे थे। मामले में स्थानीय पुलिस अधिकारी रणजीत सिंह ने बताया कि घटना के संबंध में जांच जारी है और सभी बयानों के आधार पर कार्रवाई की जाएगी।