नासिर-जुनैद हत्याकांड में गिरफ्तार मोनू मानेसर गैंगस्टर बनना चाहता था। वह गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई के नेटवर्क में शामिल होना चाहता था। जिसको लेकर मोनू मानेसर और लॉरेंस बिश्नोई के बीच बातचीत का एक वीडियो सामने आया है।
वीडियो में मोनू मानेसर लॉरेंस बिश्नोई के साथ वीडियो कॉल पर बात करते देखा जा सकता है। वहीं लॉरेंस बिश्नोई को पंजाबी सिंगर सिद्धू मूसेवाला हत्याकांड का मास्टरमांइड भी बताया जा रहा है, जो कि फिल्हाल जेल में है और वहीं से अपना नेटवर्क संचालित करता है।
वीडियो में मोनू मानेसर और लॉरेंस बिश्नोई से करीब 38 सेकेंड तक बात करते नजर आ रहा है। लॉरेंस बिश्नोई के साथ एक और व्यक्ति नजर आ रहा है। वीडियो को देखकर पता चल रहा है कि यह बातचीत कार में यात्रा के दौरान की गई है। लॉरेंस बिश्नोई के साथ भी एक और व्यक्ति मौजूद है। इस कथित 38 सेकेंड के वीडियो में हुई बातचीत से यह जाहिर हो गया है कि मोनू मानेसर के गैंगस्टर जगत से संबंध कैसे हैं।
लॉरेंस बिश्नोई के भाई अनमोल के संपर्क में मोनू मानेसर
जानकारी मिली है कि मोनू मानेसर सिग्नल ऐप के माध्यम से लॉरेंस बिश्नोई के भाई अनमोल के संपर्क में था। मोनू मानेसर और लॉरेंस बिश्नोई के बीच हुई बातचीत का यह कथित वीडियो कब का है। इसका खुलासा अभी तक नहीं हुआ है, लेकिन इससे मोनू मानेसर के लॉरेंस गिरोह के साथ जुड़ने के कथित इरादे सामने आ गए हैं। इससे पता चलता है कि वह लॉरेंस बिश्नोई के नियमित संपर्क में था, जो कई वर्षों से जेल में बंद है।
ऐप के जरिए इन्कमिंग-आउटगोइंग कॉल भी हुई
मोनू मानेसर और अनमोल की बातचीत 27 अगस्त से शुरू हुई थी। दोनों के बीच सिग्नल ऐप के जरिए ही इनकमिंग और आउटगोइंग कॉल भी हुई। सिग्नल पर ही दोनों के बीच मैसेज हुए। दोनों की बातचीत की पूरी डिटेल में इसका खुलासा हुआ है। हालांकि, अभी इसकी पुलिस के द्वारा इसकी आधिकारिक पुष्टि नहीं की गई है। अनमोल ने मोनू मानेसर को बताया कि भाई (लॉरेंस बिश्नोई) का फोन चल गया है। इसके बाद अनमोल ने मोनू मानेसर को लॉरेंस का सिग्नल ऐप का नंबर भी दिया। इसके बाद 12 सितंबर दिन मंगलवार को मोनू मानेसर की गिरफ्तारी हो गई।
16 फरवरी को भिवानी में जिंदा जले मिले थे नासिर-जुनैद
15 फरवरी 2023 को राजस्थान में भरतपुर के एक गांव से नासिर और जुनैद लापता हो गए थे। परिवार ने किडनैपिंग के आरोप लगाए थे। अगले दिन 16 फरवरी को हरियाणा में भिवानी में दोनों जिंदा जले मिले थे। गाड़ी के नंबर से पता चला था कि यह बोलेरो वही है, जिसमें नासिर-जुनैद जा रहे थे। राजस्थान पुलिस ने हत्या का मामला दर्ज कर लिया था। इसमें मोनू मानेसर सहित कई आरोपियों को नामजद किया गया था। इनमें से कुछ आरोपी गिरफ्तार कर लिए गए, लेकिन मोनू मानेसर 8 महीने से फरार था, जिसे भी अब दबोच लिया गया है।